मिर्जापुर अदलहाट क्षेत्र के समदपुर गांव स्थित सेवा ग्राम हॉस्पिटल में अधिक रक्तस्राव के कारण बेहोशी की हालत में पहुंची महिला का सफल इलाज कर उसकी जान बचाई गई।ऐसी महिला चिकित्सक का नाम क्षेत्र में चर्चा का विषय बना हुआ है।क्षेत्र की 24 वर्षीय मनोरमा की चार दिन पूर्व अधिक रक्तस्राव के कारण तबियत बिगड़ने से वह बेहोश हो गई थी।परिजन आन फानन में उसे स्थानीय चिकित्सालय अलगू सिंह मेमोरियल सेवा ग्राम हॉस्पिटल में ले गए जहां महिला चिकित्सक डॉ. दीप्ति सिंह ने देखा तो मरीज की स्थिति ठीक नहीं थी,शरीर ठंडा और सफेद पड़ चुका था और अधमरी हालत में थी।इस अवस्था में उसे वाराणसी रेफर करती तो बीच में ही उसकी मौत होने की आशंका थी जिसको देखते हुए उसका इलाज प्रारंभ किया।मरीज का खून मात्र 3 ग्राम था और वीपी भी नहीं मिल रहा था। निरंतर प्रयास से पहले रक्तस्राव को रोका गया,उसे तत्काल आक्सीजन पर एखते हुए बीपी वापस लाने के लिए दवाईयो एवं 24 घंटे के अंदर 5 यूनिट ब्लड चढ़ाया गया। अगले 15 घंटे के बाद निरंतर प्रयास से भरीज का बी.पी. सामान्य हुआ।अब वह पूरी तरह खतरे से बाहर है।दूसरी ओर मरीज 30 वर्षीय मिनाक्षी का स्कार इंडोमेट्रियोना का सफल आपरेशन किया।यह एक दुर्लभ बिमारी है जिसमें असहनीय दर्द होता है। जिससे किसी कारण से चीरे की जगह पर बच्चेदानी के झिल्ली के दबाव से गाठ बन गया था।ग्रामीण अंचल के हॉस्पिटल में अब सुविधाएं मिलने से क्षेत्र के लोगों को भी यह खुशी है कि अब इलाज के लिए उन्हें वाराणसी नहीं जाना पड़ेगा।इस सम्बंध में महिला रोग विशेषज्ञ डॉ. दीप्ति सिंह ने बताया कि ग्रामीण क्षेत्र में पहली बार ऐसे गंभीर मरीज को भर्ती कर सफल ईलाज किया गया। समय से उसको इलाज नहीं मिलती तो उसका बचना मुस्किल था।साथ ही अब तक यहां चार महिलाओं का स्कार इंडोमेट्रियोना का सफल आपरेशन किया है।
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